
नमस्कार ! ![]() बळीराजावर आपले स्वागत आहे. |
आजचे बाजारभाव पाहण्यासाठी https://www.baliraja.com/node/3024 या लिंकवर क्लिक करा.
~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~
| प्रकाशन दिनांक | लेखनविभाग | शीर्षक | लेखक | प्रतिसाद | वाचने |
अंतिम अद्यतन |
|---|---|---|---|---|---|---|
| 28/09/18 | गीतरचना | उभं पीक पाण्यासाठी.. | Chitra Kahate | 4 | 5,265 | 6 वर्षे 2 months |
| 19/01/19 | अनुभवकथन | उठ शेतकऱ्या, घे मशाल | Komal Bhujbal | 7 | 7,199 | 6 वर्षे 11 months |
| 19/09/18 | गझल | मेला कृषक उपाशी | Dr. Ravipal Bha... | 6 | 7,801 | 6 वर्षे 11 months |
| 26/09/18 | कथा | आणि तिनं खुरप्याच्या पाठीला धार लावली... | Raosaheb Jadhav | 2 | 5,147 | 6 वर्षे 12 months |
| 09/09/18 | काव्यसंग्रह समीक्षण | *अस्वस्थ काळ अधोरेखित करणारा - माणसाच्या सोयीचा देव* | Kiran dongardive | 1 | 4,045 | 6 वर्षे 12 months |
| 09/10/18 | चळवळीतील अनुभव | शेतमालाच्या भावाची लढाई | तेजराव मुंढे | 1 | 3,972 | 6 वर्षे 12 months |
| 19/09/18 | पद्यकविता | धोरण | RANGNATH TALWATKAR | 3 | 5,765 | 6 वर्षे 12 months |
| 24/09/18 | गझल | हालहाल पोचलेत कुंचल्यातही तुझे | Dhirajkumar Taksande | 5 | 6,871 | 6 वर्षे 12 months |
| 12/09/18 | गझल | गर्भार कास्तकारी | Ramesh Burbure | 11 | 10,277 | 6 वर्षे 12 months |
| 21/09/18 | गीतरचना | कवडीमोल दाम | मुक्तविहारी | 6 | 7,683 | 7 वर्षे 3 दिवस |
| 23/09/18 | छंदोबद्ध कविता | दारिद्र्य | मुक्तविहारी | 2 | 4,080 | 7 वर्षे 3 दिवस |
| 27/09/18 | छंदोबद्ध कविता | लढू गड्यांनो | लक्ष्मण खेडकर | 5 | 6,632 | 7 वर्षे 3 दिवस |
| 08/10/18 | छंदोबद्ध कविता | रोज नवेच मरण | Sidheshwar Ingole | 4 | 6,462 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 18/09/18 | गीतरचना | आडून धोरणांच्या! | प्रदीप थूल | 3 | 4,664 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 12/09/18 | गीतरचना | स्वाभिमान तू माझा | RANGNATH TALWATKAR | 2 | 5,375 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 24/09/18 | गीतरचना | कवा हासू कवा रडू | आशिष आ. वरघणे | 2 | 4,748 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 29/09/18 | गीतरचना | तू रे पोशिंदा जगाचा | ravindradalvi | 3 | 6,118 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 09/10/18 | गीतरचना | धोरण | RANGNATH TALWATKAR | 1 | 3,743 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 10/10/18 | गीतरचना | सरकारी धोरण, रचे बापाचे सरण | बालाजी कांबळे | 3 | 6,117 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 01/10/18 | अनुभवकथन | पिकलेला काटा अन् करपलेली पिके | Bhaskar Bhujang... | 1 | 13,642 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 13/09/18 | शेतीतील अनुभव | शेतकऱ्यांप्रती सरकारची अनास्था | नितीन साळुंके | 2 | 4,587 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 16/09/18 | गझल | ते प्रेत बोलताहे | Dhirajkumar Taksande | 2 | 4,129 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 24/09/18 | गझल | "खोटेच पंचनामे" | Ramesh Burbure | 5 | 7,007 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 21/09/18 | गझल | चोरीस सूट आता | प्रदीप थूल | 5 | 6,328 | 7 वर्षे 5 दिवस |
| 06/10/18 | गझल | गझल: सर्वहारा | Dhirajkumar Taksande | 1 | 4,189 | 7 वर्षे 6 दिवस |